Lybrate Logo
Get the App
For Doctors
Login/Sign-up
Last Updated: Mar 26, 2023
BookMark
Report

Cold And Cough

Profile Image
Dr. Dinesh BajpaiAyurvedic Doctor • 32 Years Exp.BAMS

सर्दी-जुकामः सर्दी-जुकाम में आगे के प्रकरण के अनुसार उपवास करें।
पहला प्रयोगः गर्म दूध में 1 से 2 ग्राम पिसी सोंठ मिलाकर अथवा तुलसी के पत्ते का 2 से 10 मि.ली. रस एवं अदरक के 2 से 20 मि.ली. रस में एक चम्मच शहद मिलाकर दिन में दो तीन बार लेने से सर्दी में लाभ होता है।
दूसरा प्रयोगः 5 से 10 ग्राम पुराना गुड़ एवं 2 से 10 ग्राम अदरक मिलाकर खाने से अथवा आधी कटोरी दूध में 2 से 10 ग्राम काली मिर्च और 1 से 5 ग्राम हल्दी उबालकर देने से सर्दी में लाभ होता है।
तीसरा प्रयोगः शरीर ठण्डा होने पर बिना छिलके के भूने चने का पाउडर एवं सोंठ का पाउडर सूखा-सूखा घिसने पर शरीर में गर्मी आती है।
चौथा प्रयोगः नींबू का रस गर्म पानी में मिलाकर रात को सोते समय पीने से सर्दी मिटती है।
पाँचवाँ प्रयोगः रात के समय नित्य सरसों का तेल या गाय के घी को गुनगुना गर्म करके नाक द्वाराएक- दो बूँद लेने से नजला-जुकाम नहीं होता है व मस्तिष्क स्वस्थ रहता है।
छठा प्रयोगः बड़ के कोमल पत्तों को छाया में सुखाकर कूट कर पीस लें। आधा लीटर पानी में एक चम्मच चूर्ण डालकर काढ़ा बनायें। जब चौथाई पानी शेष बचे तब उतारकर छान लें और पिसी मिश्री मिलाकर कुनकुना करके पियें। यह प्रयोग दिमागी शक्ति बढ़ाता है व नजले जुकाम में भी लाभदायक है।
सातवाँ प्रयोगः सर्दी के कारण होता सिरदर्द, छाती का दर्द एवं बेचैनी में सोंठ के पाउडर को पानी में डालकर गर्म करके पीड़ावाले स्थान पर थोड़ा लेप करें। सोंठ की डली डालकर उबाला गया पानी पियें। सोंठ का चूर्ण शहद में मिलाकर थोड़ा-थोड़ा रोज चाटें। भोजन में मूँग, बाजरी, मेथी एवं लहसुन का प्रयोग करें। इससे भी सर्दी मिटती है।
आठवाँ प्रयोगः पुदीने का ताजा रस कफ, सर्दी में लाभप्रद है।
 

खाँसी(cough)
पहला प्रयोगः
तीन रत्ती (375 मिलीग्राम) फुलाया हुआ सुहागा शहद के साथ रात्रि में लेने से अथवा मुनक्कें एवं मिश्री को मुँह में रखकर चूसने से खाँसी में लाभ होता है।
दूसरा प्रयोगः 1 से 2 ग्राम मुलहठी एवं तुलसी का 5 से 10 मिलीलीटर रस मिलाकर शहद के साथ चाटने से अथवा 4-5 लौंग को भूनकर तुलसी के पत्तों के साथ लेने से सभी प्रकार की खाँसी में लाभ होता है।
तीसरा प्रयोगः दो ग्राम काली मिर्च एवं डेढ़ ग्राम मिश्री का चूर्ण अथवा शितोपलादि चूर्ण एक-एक ग्राम दिन में तीन चार बार शहद के साथ चाटने से खाँसी में लाभ होता है।
चौथा प्रयोगः पीपरामूल, सौंठ एवं बहेड़ादल का चूर्ण बना कर शहद में मिलाकर प्रतिदिन खाने से सर्दी-कफ की खाँसी मिटती है।
पाँचवाँ प्रयोगः हल्दी के टुकड़े को घी में सेंककर रात्रि को सोते समय मुँह में रखने से कफ, सर्दी और खाँसी में फायदा होता है। कष्टदायक खाँसी भी उससे कम होती है। साथ-साथ हल्दी के धुएँ का नस्य लेने से सर्दी और जुकाम तुरंत मिटते हैं।
छठा प्रयोगः अनार की सूखी छाल आधा तोला बारीक कूटकर, छानकर उसमें थोड़ा-सा कपूर मिलायें। यह चूर्ण दिन में दो बार पानी के साथ मिलाकर पीने से भयंकर कष्टदायक खाँसी मिटती है।
सातवाँ प्रयोगः सर्दी-जुकाम एवं खाँसी में हल्दी-नमक मिश्रित ताजे भुने हुए एक मुट्ठी चने सुबह तथा रात्रि को सोते वक्त खायें किंतु उसके ऊपर पानी न पियें। भोजन में घी, दूध, शक्कर, गुड़ एवं खटाई का सेवन बंद कर दें। सर्दी-खाँसीवाले स्थायी मरीज के लिए यह एक सस्ता प्रयोग है।
आठवाँ प्रयोगः हल्दी नमकवाली भुनी हुई अजवायन को भोजन के पश्चात् मुखवास के रूप में नित्य सेवन करने से सर्दी खाँसी मिट जाती है। अजवायन का धुआँ लेना चाहिए। अजवायन की पोटली से छाती का सेंक करना चाहिए। मिठाई, खटाई एवं चिकनाईयुक्त चीजों का सेवन नहीं करना चाहिए।
गर्मी की खाँसीः सोंफ एवं मिश्री का चूर्ण बारंबार मुँह में रखने से गर्मी की खाँसी मिटती है।

chat_icon

Ask a free question

Get FREE multiple opinions from Doctors

posted anonymously

TOP HEALTH TIPS

doctor

View fees, clinc timings and reviews
doctor

Treatment Enquiry

Get treatment cost, find best hospital/clinics and know other details