Chicken Pox Treatment - चिकन पॉक्स का इलाज
चिकन पॉक्स वेरिसेला-ज़ोस्टर वायरस के कारण होने वाली एक बहुत ही संक्रामक बीमारी है. इससे छाले या फफोले जैसे दाने, खुजली, थकान और बुखार होता है. यह पेट, पीठ और चेहरे पर पहले दिखाई देता है और फिर पूरे शरीर में फैल जाता है. उसके बाद 250 से 500 खुजली वाले छाले या फफोले हो जातें हैं. चिकन पॉक्स गंभीर हो सकता है, खासकर बच्चों, वयस्कों और कमजोर प्रतिरक्षा प्रणाली वाले लोगों में. चिकन पॉक्स को रोकने का सबसे अच्छा तरीका चिकन पॉक्स वैक्सीन प्राप्त करना है. लगभग 2 सप्ताह में अधिकांश लोग ठीक हो जाते हैं. VZV अत्यधिक श्वसन बूंदों या संक्रमित व्यक्ति के त्वचा के घावों/दानें के सीधे संपर्क से फैलता है. एक अध्ययन के मुताबिक़ भारत में चिकेनपॉक्स गर्मियों के मुकाबले सर्दियों में ज़्यादा होता है.
स्वस्थ बच्चों में चिकन पॉक्स के लिए चिकित्सा उपचार की आवश्यकता नहीं होती है. यह बीमारी ठीक होने के लिए अपना समय लेती ही है. हालांकि, खुजली को दूर करने के लिए आपके डॉक्टर एन्टीहिस्टमाइन दे सकते हैं.
चिकन पॉक्स का उपचार
चिकन पॉक्स आसानी से एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में फैलता है. यदि आपको चिकन पॉक्स कभी नहीं हुआ है या चिकन पॉक्स टीका कभी नहीं लगवाया है, तो आपको चिकन पॉक्स होने की संभावना ज़्यादा है. यदि आप या आपका बच्चा प्रतिरक्षित नहीं है, तो टीका प्राप्त करके चिकन पॉक्स को रोका जा सकता है. यह टीका लगवाना निम्नलिखित लोगों के लिए सलाहित है: 12 महीने की आयु के सभी स्वस्थ बच्चों को और जिनको यह पहले न हुआ हो. स्वस्थ लोग, जिन्हे यह याद नहीं कि बचपन में टीका लिया था या नहीं. जो महिलाएं गर्भवती होने की योजना बना रही हैं. महिलाओं जो प्रतिरक्षित नहीं है, उनके लिए चिकन पॉक्स और गर्भावस्था एक खतरनाक संयोजन हो सकता है. गर्भावस्था होने से पहले वेरिसेला वैक्सीन/टीका लगवाने से गर्भावस्था के दौरान होने वाले चिकेन पॉक्स की जटिलताओं से राहत मिलती है. वैक्सीन के सही समय के बारे में अपने डॉक्टर से बात करें.
आप वायरस से संक्रमित लोगों के साथ निकट संपर्क से बचें. यह अधिक महत्वपूर्ण तब होता है जब आपकी प्रतिरक्षा प्रणाली ज़्यादा कमज़ोर होती है. लेकिन लक्षण विकसित होने के पहले ही संक्रमित व्यक्ति से वायरस फैल सकता है.
विषाणु के संपर्क में होने के बाद चिकन पॉक्स को रोकें
यदि आप किसी ऐसे व्यक्ति के संपर्क में हैं जिसको चिकन पॉक्स है और आपको यकीन नहीं है कि आप प्रतिरक्षित हैं या नहीं हैं, तो वेरिसेला वैक्सीन/टीका का एक शॉट आपको बीमारी से रोक सकता है,या इस बीमारी को हल्का बना सकता है. यदि आपको चिकन पॉक्स का टीका/वेरिसेला वैक्सीन नहीं दिया जा सकता है तो एंटीबॉडी (इम्युनोग्लोबुलिन) या एंटीवायरल दवा का एक शॉट चिकन पॉक्स को रोकने में मदद कर सकता है.
चिकन पॉक्स वैक्सीन (वेरिसेला वैक्सीन/टीका) उपलब्ध होने से पहले, परिवारों में अक्सर हफ़्तों तक यह वायरस रहता था क्योंकि यह एक व्यक्ति से दुसरे को होता था. इस वैक्सीन की उपलब्धि से पहले लोग अपने बच्चों को जानबूझ कर चिकन पॉक्स से संक्रमित करते थे ताकि यह बिमारी एक बार हो जाए और भविष्य में इसके प्रति प्रतिरक्षा बन जाए (क्योंकि वयस्कों में यह बीमारी और भी गंभीर रूप ले सकती है). परन्तु अपने बच्चों को संक्रमित करना उचित नहीं है क्योंकि इससे निमोनिआ व इंसेफलाइटिस जैसी गंभीर बीमारियां हो सकती हैं. अब टीका उपलब्ध है व सबसे सुरक्षित विकल्प है. अपने बच्चे को टीका ज़रूर लगवाएं.